60 के दशक से लेकर 80 के दशक तक बॉलीवुड पर अपने सुपरहिट गानों के जरिए राज करने वाले संगीतकार और गायक राहुल देव बर्मन यानी आरडी बर्मन की आज पुण्यतिथि है। उनका जन्म 27 जून, 1939 को कोलकाता में हुआ था। वहीं साल 1994 में आज ही के दिन उन्होंने इस दुनिया को अलविदा कहा था। राहुल देव बर्मन को आरडी बर्मन और प्यार से लोग एक और नाम 'पंचम दा' कहकर भी बुताले थे। आरडी बर्मन के पिता मशहूर संगीतकार सचिन देव बर्मन थे। आरडी बर्मन जितना अपने गानों से ज्यादा अपनी लव लाइफ को लेकर चर्चा में रहे थे। बता दें कि अपने गानों से जादू चलाने वाले आरडी बर्मन और आशा भोसले की प्रेम कहानी भी काफी म्यूजिकल रही है। पंचम के पुण्यतिथि पर जानिए उनकी लव स्टोरी...
अपने गानों और संगीत से लोगों के दिलों पर राज करने वाले आरडी बर्मन ने 60 के दशक से लेकर 80 के दशक में न जानें कितने हिट गाने दिए है। उन्होंने हिंदी के अलावा, तमिल, तेलुगू, बांग्ला और मराठी फिल्मों के लिए भी कमाल का संगीत दिया था। आरडी बर्मन के नाम के पीछे भी एक किस्सा छुपा हुआ है इसके बारे में कम लोग ही जातने हैं। बता दें कि आर डी बर्मन जब बचपन में रोते थे तो पंचम सुर की ध्वनि सुनाई देती थी। इसी वजह से उनका नाम पंचम पड़ गया। बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता अशोक कुमार ने जब एक बार उन्हें रोते हुए सुना तो कहा था कि ये पंचम सुर में रोता है।
बता दें कि आरडी बर्मन और आशा भोसले की पहली मुलाकात 1956 में हुई थी। तब तक आशा भोसले ने इंडस्ट्री में अच्छी खासी पहचान बना ली थी। जबकि आरडी बर्मन टीएनज में स्ट्रगल कर रहे थे। करीब 10 साल बाद वो मौका आया जब आरडी बर्मन ने फिल्म 'तीसरी मंजिल' के लिए आशा भोसले से गाने के लिए संपर्क किया। बता दें कि जब दोनों एक दूसरे से मिले थे उस वक्त दोनों की ही पहली शादी टूट चुकी थी। पंचम दा अपनी पहली पत्नी रीता पटेल से अलग हो गए थे। वहीं आशा भोसले अपने पति गणपतराव भोंसले से अलग हो गई थीं।
इसी बीच आशा भोसले लगातार पंचम के लिए गाने गा रही थीं। कई सालों तक बगैर शब्दों के ही उनके एहसास संगीत की तरह रोमांस बनकर बहते रहे। संगीत उन्हें करीब ला रहा था। इस दौर में दोनों ने एक से बढ़कर एक सुपरहिट गाने दिए। दोनों की शादी का रास्ता इतना भी आसान नहीं था। बता दें कि आशा की उम्र आरडी बर्मन से काफी ज्यादा थी। इसी वजह से उनकी मां नहीं मान रही थीं। जब पंचम ने अपनी मां से शादी की अनुमति मांगी तो उन्होंने गुस्से में कांपती हुई आवाज में कहा, 'जब तक मैं जिंदा हूं ये शादी नहीं हो सकती, तुम चाहो तो मेरी लाश पर से ही आशा भोसले को इस घर में ला सकते हो।' दोनों को शादी के लिए काफी लंबा इंतजार करना पड़ा था। पंचम और आशा की ये म्यूजिकल लव स्टोरी का सफर ज्यादा दिन तक नहीं चल सका और शादी के 14 साल बाद ही पंचम दा, आशा भोंसले को अकेले छोड़कर 54 साल की उम्र में इस दुनिया से चले गए। पंचम के चले जाने के बाद आशा बिल्कुल टूट गई थीं।
Source - Aaj Tak